जस्टिस अश्वनी कुमार सिंह की खंडपीठ ने इस जनहित याचिका की सुनवाई करते हुए रजिस्ट्रार जनरल, पटना हाईकोर्ट निर्देशक अभियोजन( गृह विभाग) और ए डी जी( एस सी आर बी) गृह विभाग को पार्टी बनाने का निर्देश दिया।
कोर्ट ने ए डी जी को अगली सुनवाई में कोर्ट में उपस्थित रहने का निर्देश दिया।ये जनहित याचिका अधिवक्ता ओम प्रकाश ने दायर की है।
जनहित याचिका में कोर्ट को बताया गया कि राज्य के बहुत से पुलिस स्टेशनों में कंप्यूटर की सुविधा उपलब्ध नहीं है।इस कारण पुलिस स्टेशनों में आपराधिक मामलों की जांच और केस डायरी हाथों से लिखा जाता हैं।
हस्तलिखित जांच रिपोर्ट और केस डायरी पढ़ने में काफी असुविधा होती हैं,क्योंकि लिखावट स्पष्ट नहीं होता हैं।इससे कोर्ट को काफी मुश्किलें होती है और समय भी काफी जाया होता हैं।न्याय करने में भी कोर्ट को परेशानी होती हैं।
याचिकाकर्ता अधिवक्ता ओमप्रकाश की ओर से कोर्ट को बताया गया कि राज्य सरकार ने दिसंबर,2020 में हलफनामा दायर कर कहा था कि राज्य के सभी पुलिस स्टेशनों को शीघ्र कंप्यूटरीकृत कर लिया जाएगा,लेकिन अभी भी राज्य के सभी पुलिस स्टेशनों को कंप्यूटरीकृत नहीं किया जा सका हैं।
इससे जहां न्यायिक पदाधिकारीगण को केस डायरी और जांच रिपोर्ट के अध्ययन में कठिनाई होती हैं,वहीं न्याय प्रशासन देने में विलम्ब होता है।
इस मामलें पर अगली सुनवाई 11सितम्बर,2022 को होगी।