छिटपुट हिंसा को छोड़कर 9 वे चरण का चुनाव सम्पन्न।बिहार में पंचायत चुनाव के 9वें चरण के लिए 35 जिलों की 875 पंचायतों में वोटिंग हुई। सोमवार सुबह 6 बजे से ही मतदाता बूथों पर पहुंचने लगे।
मतदान केंद्र के अंदर और बाहर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे। सुबह 7 बजे से 5 बजे तक 61.15% मतदान हुआ। 64.38% महिलाओं और 57.91% पुरुषों ने वोटिंग की। वोटिंग के लिए 12341 बूथ बनाए गए थे।
राज्य निर्वाचन आयुक्त ने बताया मतदान शांतिपूर्ण रहा। कुल 37 शिकायत प्राप्त हुए थे। कुल 609 EVM को बदला गया। कुल 18729 बोगस वोटर्स को चिह्नित किया गया। सभी पर उचित करवाई की जाएगी।
मधुबनी में बोगस वोटिंग को लेकर पुलिस के साथ लोगों की झड़प हो गई। वहीं, मधुबनी के बेनीपट्टी प्रखंड में मुखिया प्रत्याशी पति को गोली मार दी गई।
गंभीर हालत में उन्हें अस्पताल में भर्ती किया गया। वहीं, सीवान में भी मुखिया प्रत्याशी के रिश्तेदार को जांघ में बूथ पर गोली मार दी। सीतामढ़ी में पंचायत चुनाव के दौरान भीड़ को हटाने गई पुलिस पर लोगों ने हमला कर दिया। पुलिस पर लोगों ने पथराव किया ।
पटना हाईकोर्ट ने जमीनी विवाद में प्राथमिक दर्ज नही किये जाने पर कड़ी नाराजगी जाहिर करते हुए स्पष्ट किया कि जमीनी विवाद में पुलिस को प्राथमिक दर्ज करना होगा।अमरजीत राय एवं अन्य की ओर से दायर अर्जी पर जस्टिस संदीप कुमार ने सुनवाई करने के बाद यह निर्देश दिया।
कोर्ट का मानना था कि जमीनी विवाद की बात कह राज्य की पुलिस प्राथमिकी दर्ज करने से इंकार कर देती है,जबकि पुलिस का पहला दायित्व प्राथमिकी दर्ज करना है। प्राथमिकी दर्ज नहीं करना एक तरह से अपराधियों को सीधा संरक्षण देने के समान है।
कोर्ट का कहना था कि जब कोई भी व्यक्ति थाने में शिकायत लेकर आता है ,तो सबसे पहले पुलिस को प्राथमिकी दर्ज करना चाहिए, न कि पहले शिकायत की जांच करने और शिकायत सही होने पर प्राथमिकी दर्ज करना।
पुलिस को चाहिए कि शिकायत पर प्राथमिकी दर्ज कर अपनी जांच प्रारम्भ करे। जांच में सही पाए जाने पर अभियुक्तों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करें।
कोर्ट ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने देश के पुलिस को कई महत्त्वपूर्ण दिशा निर्देश जारी किया है।लेकिन प्रदेश में सुप्रीम कोर्ट के दिशा निर्देश का पालन नहीं किया जा रहा है।
कोर्ट ने पूर्वी चंपारण के एसपी को सुप्रीम कोर्ट की ओर जारी दिशानिर्देश का पालन करने के बारे में जिला के सभी थानेदारों को निर्देश जारी करने का आदेश दिया है। कोर्ट ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन राज्य में पुलिस नहीं कर रही है। इस मामले पर अगली सुनवाई की 15 दिसंबर, 2021को होगी।
पटना हाई कोर्ट में झंझारपुर के एडिशनल डिस्ट्रिक्ट एन्ड सेशंस जज अविनाश कुमार – I पर किये गए कथित आक्रमण और मारपीट की घटना के मामले पर सुनवाई हुई। जस्टिस राजन गुप्ता की खंडपीठ के समक्ष सुनवाई के दौरान रिपोर्ट बंद लिफाफे में सौंपी गई।
कोर्ट ने सुनवाई के दौरान मौखिक रूप से कहा कि आखिर पुलिस अधिकारियों ने लोडेड हथियार के साथ एक जज के चैम्बर में कैसे प्रवेश किया ? कोर्ट ने इस मामले में सहयोग करने हेतु एमिकस क्यूरी नियुक्त करने का निर्णय लिया है।
इस मामलें पर सुनवाई के दौरान राज्य सरकार के महाधिवक्ता ने कहा कि राज्य की पुलिस दोनों पक्षों के मामलों को निष्पक्ष और पारदर्शी ढंग से अनुसंधान करने में सक्षम है। दोनों पुलिस अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया है।
एड्वोकेट जनरल ने कहा कि यदि चाहे तो कोर्ट सी बी आई समेत किसी भी एजेंसी से मामले की जांच करवा सकता है। उल्लेखनीय है कि मधुबनी के डिस्ट्रिक्ट एन्ड सेशंस जज द्वारा 18 नवंबर, 2021 को भेजे गए पत्र पर हाई कोर्ट ने 18 नवंबर को ही स्वतः संज्ञान लिया है।
साथ ही साथ कोर्ट ने राज्य के मुख्य सचिव, राज्य के डी जी पी, राज्य के गृह विभाग के प्रधान सचिव और मधुबनी के पुलिस अधीक्षक को नोटिस जारी किया था।
मधुबनी के प्रभारी डिस्ट्रिक्ट एंड सेशंस जज द्वारा अभूतपूर्व और चौंका देने वाली इस घटना के संबंध में भेजे गए रिपोर्ट के मद्देनजर राजन गुप्ता की खंडपीठ ने 18 नवंबर, 2021 को सुनवाई की।
ज़िला जज ,मधुबनी के द्वारा भेजे गए रिपोर्ट के मुताबिक घटना के दिन तकरीबन 2 बजे दिन में एस एच ओ गोपाल कृष्ण और घोघरडीहा के पुलिस सब इंस्पेक्टर अभिमन्यु कुमार शर्मा ने जज अविनाश कुमार के चैम्बर में जबरन घुसकर गाली दिया था।
उनके द्वारा विरोध किये जाने पर दोनों पुलिस अधिकारियों ने दुर्व्यवहार करने और हाथापाई करने का काम किया था। इतना ही नहीं, दोनों पुलिस अधिकारियों ने उनपर हमला किया और मारपीट करने का काम किया था। पुलिस अधिकारियों ने अपनी सर्विस रिवॉल्वर निकालकर आक्रमण करना चाहा।
पटना हाई कोर्ट ने 18 नवंबर को कहा था कि प्रथम दृष्टया ऐसा लगता है कि यह प्रकरण न्यायपालिका की स्वतंत्रता को खतरे में डालता है। मामले की गंभीरता को देखते हुए राज्य के डी जी पी को अगली।सुनवाई में भी उपस्थित रहने को कहा गया । इस मामले पर आगे की सुनवाई अब 1दिसम्बर,2021 को की जाएगी।
पटना हाईकोर्ट ने राज्य में कोरोना महामारी से सम्बंधित जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए करोना के नए वेरिएंट को काफी गम्भीरता से लिया। शिवानी कौशिक व अन्य की जनहित याचिकाओं पर चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ ने सुनवाई करते हुए करोना के इस नए वेरिएंट से अधिकतम सतर्कता बरतने को सभी से अनुरोध किया।
हाईकोर्ट ने इस मामलें पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार को राज्य में उपलब्ध मेडिकल सुविधाओं के सम्बन्ध में पूरा ब्यौरा अगली सुनवाई में प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है। कोर्ट ने राज्य सरकार को यह बताने को कहा है कि राज्य में अस्पतालों में ऑक्सीजन की आपूर्ति की क्या स्थिति है।
कोर्ट ने राज्य सरकार को बताने को कहा कि ऑक्सीजन उत्पादन व आपूर्ति की क्या स्थिति है।साथ ही ऑक्सीजन के भण्डार करने की क्या व्यवस्था हैं।
कोर्ट ने कहा कि ये करोना का नया वेरिएंट पिछले अन्य करोना वेरिएंट से ज्यादा।खतरनाक है।इसलिए सभी को पूरी सतर्कता और सावधानी बरतने की सख्त जरूरत हैं।
2020 के मार्च माह पूरे देश समेत बिहार में भी करोना महामारी ने दुष्प्रभाव दिखाया था।इसके कारण पूरे देश में बड़ी तादाद में लोगों को अपने जान से हाथ धोना पड़ा।
फिर मार्च अप्रैल 2021 में इस महामारी ने खतरनाक रूप धारण किया।इस दौरान बड़ी संख्या लोगों की जाने गई थी। कोर्ट ने कहा कि इस परिस्थिति के लिए राज्य में चिकित्सा अधारभूत संरचना की कमी भी जिम्मेदार रही। बेड,दवा,एम्बुलेंस,ऑक्सीजन सिलिंडर की कमी के कारण लोगों को परेशानी झेलनी पड़ी।
इस परिस्थिति में राज्य सरकार को नए कोरोंना वेरिएंट से निपटने के अभी से युद्ध स्तर पर कार्रवाई आरम्भ कर देनी चाहिए। इस मामले पर अब अगली सुनवाई छह दिसंबर 2021,को फिर की जाएगी।
पंचायत चुनाव के 9वें चरण का मतदान आज सुबह 6बजे से शुरु हो गया है। राज्य के 35 जिलों की 875 पंचायतों में वोटिंग हो रही है। इस चरण में शांतिपूर्ण चुनाव के लिए 42 हजार पुलिस और सुरक्षाबलों की तैनाती की गई है। इसमें जिला पुलिस बल, गृह रक्षक बल, बिहार विशेष सशस्त्र पुलिस और सैप बलों की तैनाती की गई है। सोमवार सुबह 6 बजे से ही मतदाता बूथों पर पहुंचने लगे। मतदान केंद्र के अंदर और बाहर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं।
वोटिंग अपडेट्स…
भागलपुर में पीरपैंती में कड़ी सुरक्षा के बीच मतदान शुरू।
मुजफ्फरपुर के पारू प्रखंड की 34 पंचायतों में मतदान हो रहा है।
खगड़िया के अलौली की 12 पंचायतों में मतदान, सुबह से वोटिंग के लिए कतार में मतदाता लग चुके हैं।
औरंगाबाद के अति नक्सल प्रभावित क्षेत्र हसपुरा प्रखंड में कड़ी सुरक्षा के बीच मतदान जारी।
भोजपुर के कोईलवर प्रखंड में सुबह ही मतदाताओं की भीड़ लगी।
मधुबनी के बेनीपट्टी के रामनगर गांव में बूथ संख्या 403 पर वोट एमएलसी घनश्याम ठाकुर ने वोट डाला। बेनीपट्टी के आहपुर में बूथ संख्या 196 पर एक बूढ़ी महिला कौशल्या देवी ने भी मतदान किया। मधुबनी सहित नवादा, औरंगाबाद, बेगूसराय व पूर्वी चंपारण आदि सभी 35 जिलों में मतदान तेज हो चुका है।
कड़ी सुरक्षा के बीच मोतिहारी (पूर्वी चंपारण) के अरेराज, पहाड़पुर व हरसिद्धि के 685 बूथों पर मतदान जारी है। मतदान की पूर्व संध्या पर हरसिद्धि की हसुआहां मानिकपुर में मुखिया के भाई ने की मारपीट व बंधक बनाने की कोशिश। हरसिद्धि के बूथ संख्या 240 और 258 पर ईवीएम में खराबी के कारण मतदान में विलंब हो रहा है।
बिहार विधानमंडल का शीतकालीन सत्र आज से शुरू हो रहा है। सत्र शुक्रवार तक चलेगा। पहले दिन सोमवार यानी 29 नवंबर को तारापुर से चुनकर आए राजीव कुमार सिंह और कुशेश्वरस्थान से चुनकर आए अमन हजारी का शपथ ग्रहण होगा , फिर शोक संदेश के साथ विधानसभा की आज की कार्रवाही कल दिन के 11 बजे तक के लिए स्थगित हो जायेगा ।
दूसरे दिन मंगलवार यानी 30 नवंबर और बुधवार 1 दिसंबर को राजकीय विधायक और अन्य राजकीय कार्य पर चर्चा की जाएगी। यह दोनों दिन काफी महत्वपूर्ण माने जाएंगे। गुरुवार यानी 2 दिसंबर को वित्तीय वर्ष 2021-22 के दूसरे अनुपूरक व्यय विवरणी पर वाद-विवाद, मतदान और विनियोग विधेयक पास किए जाएंगे।
वहीं, इस सत्र के अंतिम दिन यानी शुक्रवार 3 दिसंबर को गैर सरकारी सदस्यों के कार्य यानी गैर सरकारी संकल्प पेश किए जाएंगे। इसके बाद सदन की कार्यवाही अगले आदेश तक स्थगित कर दी जाएगी।
भ्रष्टाचार को लेकर राज्य सरकार का विशेष अभियान आज भी जारी है सासाराम के जिला भूअर्जन पदाधिकारी सह नगर आयुक्त राजेश गुप्ता के घर शनिवार तड़के सुबह से विजिलेंस का छापा चल रहा है अभी तक जो जानकारी मिल रही है उसके अनुसार अभी तक 1500000 कैश बरामद हो चुका है वही सोने की बिस्किट मिले हैं कई अपार्टमेंट फ्लैट के बारे में भी जानकारी मिल रही है यहां छापेमारी की जा रही है निगरानी डीएसपी ने बताया कि रांची में भी संपत्ति के बारे में कागजात मिले हैं ।
वही माइनिंग एवं जियोलॉजी डिपार्टमेंट के मंत्री जनक राम के OSD मृत्युंजय कुमार और उनकी महिला मित्र रत्ना चटर्जी पति-पत्नी के ठिकाने पर छापामारी समाप्त हो चुकी है स्पेशल विजिलेंस यूनिट (SVU) के अधिकारियों की माने तो मृत्युंजय कुमार, इनके सगे भाई धनंजय कुमार और रत्ना चटर्जी के पटना, अररिया और कटिहार स्थित ठिकानों पर छापेमारी की। रत्ना चटर्जी के कटिहार स्थित आवास से पोर्न वीडियो का CD भी बरामद हुआ।
इसके अलावा 30 लाख रुपए कैश, सोने की 30 बिस्किट, 44 लाख रुपए की ज्वेलरी, पश्चिम बंगाल के सिल्लीगुड़ी में 33 लाख रुपए में खरीदे गए फ्लैट के पेपर, सिल्लीगुड़ी के ही प्लैनेट मॉल में दुकान, 3 लाख रुपए में कटिहार में जमीन खरीदने का पेपर, पटना में लोयला स्कूल के पास 32 लाख रुपए में खरीदी गई प्रॉपर्टी के पेपर बरामद हुए। इनके अलावा LIC के 3 अलग-अलग स्कीम के पेपर मिले। हर एक स्कीम में 40 हजार रुपए के हिसाब से 1 लाख 20 हजार रुपए महीने का प्रीमियम भरा जा रहा था।
1.73 करोड़ से अधिक की काली कमाई आई सामने SVU ने अपनी पड़ताल के बाद दावा किया है कि OSD मृत्युंजय कुमार ने जमकर काली कमाई की है, जो सरकार की तरफ से मिलने वाली सैलरी से काफी अधिक है। अब तक 1 करोड़ 73 लाख 4 हजार 922 रुपए की चल-अचल संपत्ति का पता चला है। रत्ना चटर्जी और धनंजय कुमार के पास से जो कैश, संपत्ति या जेवर मिला है, वो सब अर्जित करने में मंत्री के OSD मृत्युंजय कुमार का हाथ रहा है। काली कमाई के जरिए अर्जित की गई संपत्ति को इन्होंने अपने नाम पर न खरीद कर भाई धनंजय कुमार और मित्र रत्ना चटर्जी के नाम पर खरीदा। मनी लॉड्रिंग के जरिए मृत्युंजय ने ब्लैक मनी को व्हाइट किया। इस बात के पुख्ता सबूत मिले हैं।
साढ़े छह लाख रुपए के 500 व 1000 के पुराने नोट भी मिले खनन मंत्री के आप्त सचिव मृत्युंजय कुमार और उनकी महिला मित्र रत्ना चटर्जी के पास कालेधन का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि उन्होंने नोटबंदी के पहले वाले लाखों के पुराने नोट भी नहीं बदले। रत्ना चटर्जी के कटिहार स्थित ठिकाने से SVU ने लाखों के पुराने नोट भी जब्त किए हैं। सूत्रों के अनुसार, करीब साढ़े छह लाख के रुपए के पुराने नोट मिले हैं। ये नोट 500 और 1 हजार रुपए के हैं। SVU इस मामले में मुकदमा करेगी। मृत्युंजय कुमार खान अवं भूत्तव विभाग में पदस्थापित हैं। हाल के दिनों में यह महकमा बालू के अवैध खनन को लेकर सुर्खियों में रहा है। चूंकि बालू के खनन की जिम्मेवारी भी इसी महकमे के तहत है, लेकिन उसी विभाग के मंत्री के आप्त सचिव के ठिकाने पर छापेमारी के बाद अकूत संपत्ति के खुलासे से SVU भी चौकन्नी हो गई है।
SVU ने भी कहा है कि मत्युंजय कुमार उनके भाई व रेलकर्मी धनंजय कुमार और मत्युंजय की महिला मित्र रत्ना चटर्जी के खाते से मोटी रकम के ट्रांजेक्शन हो रहे थे। आखिर ये पैसे कहां से आ रहे थे? जाहिर तौर पर एसवीयू के पास यह सवाल भी है कि महकमा बालू का है तो स्रोत भी कहीं बालू ही तो नहीं? SVU के सूत्रों के अनुसार आगे की तफ्तीश में इस एंगल से भी जांच होगी।
स्पेशल विजिलेंस टीम ने खनन मंत्री जनक चमार के ओएसडी मृत्यंजय कुमार और उनके दो मित्र के घर आय से अधिक संपत्ति के मामले में छापामारी चल रही है मृत्यंजय कुमार के अररिया स्थित पैतृक आवास और कटिहार में उनके भाई और महिला मित्र किशनगंज की पूर्व सीडीपीओ के आवास पर छापेमारी की। टीम को अररिया में कुछ हाथ नहीं लगा। जबकि, कटिहार में पूर्व सीडीपीओ के आवास से 30 लाख नगद, 50 से 60 लाख रुपये के जेवरात और बड़ी संख्या में सोने की बिस्किट टीम को हाथ लगी है। इसके अलावा महिला के घर से जमीन के कागजात और चल-अचल संपत्ति भी बरामद की गयी है। मृत्युंजय कुमार के भाई धनंजय कुमार के आवास पर देर शाम छापेमारी जारी थी। धनंजय कुमार रेलकर्मी है।
अररिया स्थित मंत्री के ओएसडी के घर विशेष निगरानी का छापा
विजिलेंस टीम के डीएसपी चन्द्रभूषण ने बताया कि कटिहार में ऑफिसर कॉलोनी में ओएसडी के महिला मित्र रत्ना चटर्जी के आवासीय परिसर से करोड़ों की चल और अचल सम्पत्ति बरामद की गयी है। फिलहाल जांच चल रही है।
कई बेनामी संपत्ति के कागजात भी बरामद किये गये हैं। उन्होंने बताया कि मृत्युंजय कुमार की एक अलमारी भी यहां मिली है। जिसकी जांच पड़ताल की जा रही है। रत्ना चटर्जी के पति ने उन्हें जानकारी दी कि ओएसडी मृत्युंजय कुमार का यहां आना-जाना होता था। डीएसपी चन्द्रभूषण ने बताया कि रत्ना चटर्जी पूर्व में किशनगंज में सीडीपीओ के पद पर तैनात थी। 2011 में विजिलेंस की टीम ने उन्हें गिरफ्तार किया था। उसके बाद इस मामले में उन्हें सेवा से बर्खास्त कर दिया गया था। यह छापेमारी अभियान दो डीएसपी जफर व चन्द्रभूषण के नेतृत्व में विशेष निगरानी पटना के द्वारा किया गया। अररिया में ताला तोड़कर अंदर प्रवेश किया
कटिहार मंत्री के आप्तसचिव के महिला मित्र के घर हुई छापेमारी
स्पेशल विजिलेंस टीम के एएसपी सुधीर कुमार के नेतृत्व में डीएससी विपिन कुमार व इंस्पेक्टर अजय कुमार के साथ स्थानीय थाना पुलिस ने अररिया के रहिका टोला स्थित मृत्युंजय कुमार के पैतृक आवास पर सघन छापेमारी की। छापेमारी के दौरान आवास पर कोई नहीं था। लिहाजा स्पेशल विजिलेंस यूनिट के अधिकारियों ने ताला तोड़कर अंदर प्रवेश किया और फिर कमरों की तलाशी ली। छापेमारी के बाद एएसपी ने बताया कि मृत्युंजय कुमार के पैतृक आवास से निगरानी टीम को कुछ हाथ नहीं लगी। उन्होंने बताया कि निगरानी विभाग ओएसडी के अररिया आवास सहित कटिहार व पटना के दो ठिकानों पर एक साथ छापेमारी चल रही है। एएसपी ने बताया कि खनन विभाग के ओएसडी मृत्युंजय कुमार उनके भाई धनंजय कुमार व उनके महिला मित्र रत्ना चटर्जी के खिलाफ 25 नवंबर को विभिन्न धाराओं में केस दर्ज किया गया है। आय से अधिक संपत्ति मामले में एक करोड़ 73 लाख से अधिक की संपत्ति अवैध तरीके से अर्जित करने का आरोप है। इसके बाद 26 तारीख को कोर्ट से सर्च वारंट लेने के बाद टीम शुक्रवार सुबह से छापेमारी चल रही है और अभी तक करोड़ो रुपये की अवैध सम्पत्ति का खुलासा हो चुका है ।
हलांकि मंत्री के ओएसडी पर छापे को लेकर बिहार की सियासत एक बार फिर गरमा गयी है और यह चर्चा तेज हो गयी है कि नीतीश इस बार बीजेपी से दो दो हाथ के मूड में वैसे अभी तक इस छापे पर बीजेपी के किसी नेता की कोई प्रतिक्रिया नहीं है ।
बिहार में पंचायत चुनाव के अंतर्गत 8वें चरण में मतगणना जारी है आज देर शाम तक जो परिणाम सामने आया है उसमें भी पहले की तरह पूराने जनप्रतिनिधियों को जनता ने नकार दिया है ।वही कई ऐसे प्रतिनिधि भी चुन कर आये हैं जो लगातार चौथी बार चुनाव जीत कर आयी है । भाजपा विधायक मंटू सिंह की पत्नी सविता देवी पंचायत -बनौता प्रखंड -परसा ज़िला – छपरा ,सारण से लगातार चौथी बार चुनाव जीत कर आय़ी है ,2006 -पंचायत समिति जीत कर आयी और प्रमुख बनी ,2011- पंचायत समिति सदस्य बनी और फिर प्रमुख बनी,2016 -पंचायत समिति सदस्य बनी फिर प्रमुख,बनी इस बार 2021में निर्विरोध पंचायत समिति चुनी गयी है क्या खास रहा है आज के मतगणना में
सविता देवी लगातार चौथी बार पंचायत समिति की सदस्य चुनी गयी
सहरसा जिला के सिमरी बख्तियारपुर प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 3 से रेणु देवी (विजेता) 7277 शिवहर जिला के तरियानी प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 6 से मनीष कुमार (विजेता) 9008 मुंगेर जिला के बरियारपुर प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 6 से सरिता कुमारी (विजेता) 4350 भोजपुर जिला के आरा प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 23 से भीम कुमार (विजेता) 5609 भागलपुर जिला के नाथनगर प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 15 से मिथुन कुमार (विजेता) 13994 बांका जिला के कटोरिया प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 22 से अंजना देवी (विजेता) 9448 बेगूसराय जिला के छौड़ाही प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 7 से पुष्पा देवी (विजेता) 5226 बेगूसराय जिला के मटिहानी प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 34 से झुना सिंह (विजेता) 15904 बक्सर जिला के चौसा प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 1 से पुजा देवी (विजेता) 16443 पूर्वी चम्पारण जिला के कोटवा प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 13 से मनोज पासवान (विजेता) 6142 पूर्वी चम्पारण जिला के मोतिहारी प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 26 से मुनी देवी (विजेता) 4376 पटना जिला के बाढ़ प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 40 से विजय कुमार (विजेता) 15453 नालन्दा जिला के सरमेरा प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 25 से नरोतम (विजेता) 8311 दरभंगा जिला के बिरौल प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 27 से सुलेखा देवी (विजेता) 8132 औरंगाबाद जिला के ओबरा प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 14 से सुधा देवी (विजेता) 11327 औरंगाबाद जिला के ओबरा प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 15 से रुपांजली कुमारी (विजेता) 15408 अररिया जिला के पलासी प्रखंड के जिला परिषद् संख्या 25 से शब्बीर अहमद (विजेता) 18460 बिहार पंचायत चुनाव के 8वें चरण की सीटों पर मतगणना सुबह 8 बजे से शुरू हो गई। शुक्रवार को 36 जिलों के 55 प्रखंडों की 822 पंचायतों के प्रतिनिधियों के किस्मत का पिटारा खुलेगा। मतगणना शनिवार को भी जारी रहेगी। यहां 24 नवंबर को वोटिंग हुई थी। इस चरण के 3,356 पदों पर निर्विरोध निर्वाचन हो चुका है। वहीं, 166 पदों पर किसी भी प्रत्याशी के नामांकन नहीं करने की वजह से यह पद खाली रह गए हैं। सीवान के सिवान के रघुनाथपुर से राजद के विधायक हरिशंकर यादव के बेटे और रिश्तेदार मुखिया का पद नहीं बचा सके हैं। विधायक हरिशंकर के बेटे सुरेंद्र यादव कुशहरा पंचायत से मुखिया का चुनाव हार गए हैं। सीतामढ़ी के रीगा के भाजपा विधायक मोतीलाल साह की समधन सुरती देवी मुखिया की चुनाव हारी गई है। सुरती देवी रीगा के गणेशपुर बभनगामा से मुखिया पद से प्रत्याशी थीं। यहां सेआशा सिंह मुखिया बनी हैं। विधायक की समधन तीसरे स्थान पर रहीं। कटिहार आजमनगर प्रखंड की मर्वतपुर पंचायत वार्ड संख्या 01 से वार्ड सदस्य पद के लिए महज 21 साल की खुशबू कुमारी चुनाव जीतीं।
नशा मुक्ति दिवस के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में शामिल हुए मुख्यमंत्री, नशा मुक्ति को लेकर दिलायी शपथ पटना, 26 नवम्बर 2021:- मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार आज सम्राट अशोक कंवेन्शन केंद्र के ज्ञान भवन में नशा मुक्ति दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में शामिल हुए।
कार्यक्रम के शुरुआत के पूर्व सम्राट अशोक कंवेन्शन केंद्र परिसर में मुख्यमंत्री ने मद्य निषेध प्रचार-प्रसार अभियान हेतु मद्य निषेध रथ एवं प्रचार बसों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। मुख्यमंत्री ने ज्ञान भवन के निचले तल्ले में नशा मुक्ति पर पेंटिंग, कोलॉर्ज एवं टेराकोटा प्रदर्शनी का उद्घाटन तथा अवलोकन किया। अवलोकन के पश्चात मुख्यमंत्री के समक्ष ‘नशा मुक्त परिवार खुशहाल परिवार’ पर आधारित शैडो डांस लघु फिल्म का प्रदर्शन किया गया।
नशा मुक्ति दिवस पर जमकर गरजे नीतीश
कार्यक्रम की शुरुआत में मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग के अपर मुख्य सचिव श्री के0के0 पाठक ने मुख्यमंत्री का स्वागत पौधा एवं स्मृति चिन्ह भेंट कर किया। कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने नशा मुक्ति को लेकर खुद शपथ लेते हुए वहां उपस्थित लोगों को शपथ दिलाई कि सत्य निष्ठा के साथ यह शपथ लेता हूं कि मैं आजीवन शराब का सेवन नहीं करुंगा। मैं कर्तव्य पर उपस्थित रहूं या न रहूं, अपने दैनिक जीवन में भी शराब से संबंधित गतिविधियों में किसी प्रकार से शामिल नहीं होऊंगा। शराबबंदी को लागू करने के लिए जो भी विधि सम्मत कार्रवाई अपेक्षित है उसे करुंगा। यदि शराब से संबंधित किसी भी गतिविधि में शामिल पाया जाऊंगा तो नियमानुसार कठोर कार्रवाई का भागीदार बनूंगा।
कार्यक्रम के दौरान नशा मुक्ति पर आधारित गीत की प्रस्तुति की गई। साथ ही नशा मुक्ति के प्रचार-प्रसार हेतु जिंगल्स, वीडियो, ऑडियो संदेश का प्रदर्शन तथा जीविका द्वारा नशा मुक्ति पर तैयार की गई लघु फिल्म, जहरीली शराब के नुकसान पर आधारित लघु फिल्म का प्रदर्शन किया गया।
मुख्यमंत्री ने मोबाइल पर जनता के नाम संदेश का लोकार्पण किया तथा नशा मुक्ति दिवस के अवसर पर सभी नगर निकाय प्रतिनिधियों को भेजे जानेवाले संदेश का अनावरण किया।
कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने मद्य निषेध को लेकर उत्कृष्ट कार्य करने वाले किशनगंज के पुलिस अधीक्षक श्री कुमार आशीष सहित अन्य पुलिस पदाधिकारियों, मद्य निषेध एवं उत्पाद विभाग के पदाधिकारियों एवं कर्मियों को प्रशस्ति पत्र एवं मेडल प्रदान कर सम्मानित किया।
इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि नशा मुक्ति दिवस के अवसर पर मैं सभी का अभिनंदन और स्वागत करता हूं। पूर्व के वक्ताओं ने सभी बातों की चर्चा विस्तार से कर दी है। 9 जुलाई 2015 को पटना के एक कार्यक्रम में मैं जब संबोधन समाप्त करके वापस गया तो वहां बैठी महिलाओं ने शराबबंदी की मांग की। मैंने उस वक्त ही वापस लौटकर कह दिया था कि अगर लोगों ने मुझे अगली बार फिर से काम करने का मौका दिया तो हम बिहार में शराबबंदी लागू कर देंगे। उन्होंने कहा कि सरकार आने के बाद 1 अप्रैल 2016 को हमने नगर निगम और नगर परिषद को छोड़कर सभी जगहों पर शराबबंदी लागू कर दी। नगर निगम और नगर परिषद में विदेशी शराब बिक्री करने की अनुमति थी। उस समय शहरों में विदेशी शराब की दुकान को खोलने का लोगों ने भारी विरोध करना शुरू किया तो हमलोगों ने 5 अप्रैल से पूरे बिहार में पूर्ण शराबबंदी लागू कर दी। उन्होंने कहा कि बिहार में वर्ष 2011 से हमने 26 नवम्बर को मद्य निषेध दिवस मनाना शुरू किया और शराबबंदी के बाद वर्ष 2017 में इसका नाम नशा मुक्ति दिवस कर दिया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोई भी काम कीजियेगा तो चंद लोग गड़बड़ करने वाले हमेशा रहते हैं, शत प्रतिशत लोग किसी भी चीज को स्वीकार नहीं करते हैं। शराबबंदी को लेकर हमने 9 बार समीक्षा बैठक की है। हाल ही में शराबबंदी को लेकर 7 घंटे लगातार समीक्षा बैठक की गयी थी और उसमें एक-एक बिंदुओं पर चर्चा हुयी थी। इस बैठक में सभी चीजों की समीक्षा की गई थी। उन्होंने कहा कि वर्ष 2016 में जहरीली शराब से हुई मौत के दोषियों पर कड़ी कार्रवाई भी की गई। हाल ही में जहरीली शराब पीने से हुई मौत के दोषियों पर भी कार्रवाई की गई है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि शराब पीने से होने वाली हानि को लेकर डब्लू०एच0ओ0 ने वर्ष 2016 में दुनिया भर में एक सर्वे कराया था जिसकी रिपोर्ट वर्ष 2018 में प्रकाशित की गयी। दुनिया भर में होने वाली कुल मौतों में 6.3 प्रतिशत मृत्यु यानि करीब 30 लाख लोगों की मौत शराब पीने से हुई। 20 से 30 आयु वर्ग के युवक/युवतियों में होने वाली मृत्यु का 13.5 प्रतिशत शराब पीने से होती है। 18 प्रतिशत लोग शराब पीने के कारण आत्महत्या करते हैं। आपसी झगड़े का 18 प्रतिशत कारण शराब पीना होता है। विश्व में जितनी सड़क दुर्घटनायें होती है उसमें 27 प्रतिशत सड़क दुर्घटनायें शराब पीने की वजह से होती है। शराब पीने की वजह से होने वाली गंभीर बीमारियों में से लीवर की गंभीर बीमारी 48 प्रतिशत, मुंह के कैंसर का 26 प्रतिशत, पैनक्रियाज की गंभीर बीमारी 26 प्रतिशत तथा टी0बी0 की गंभीर बीमारी 20 प्रतिशत के आस-पास शराब पीने के कारण होती है। यह रिपोर्ट बिहार में शराबबंदी लागू होने के बाद आयी है। डब्लू0एच0ओ0 की इस रिपोर्ट में शराब के सेवन के दुष्परिणामों को लेकर व्यापक चर्चा की गई है। हमें खुशी है कि जिस कारण से हमलोगों ने राज्य में शराबबंदी लागू किया डब्लू०एच०ओ० की यह रिपोर्ट इसकी पुष्टि करती है। इस रिपोर्ट में शराब से होने वाली हानियों के बारे में लोगों को सचेत करने के लिए पर्याप्त आंकड़ें दिये गये हैं। लोगों को हमेशा सचेत करने के लिए हम इस रिपोर्ट के बारे में बताते रहते हैं। उन्होंने कहा कि इस रिपोर्ट का लोगों के बीच में और प्रचार-प्रसार करायें ताकि वे शराब सेवन से होने वाले दुष्परिणामों के बारे में जागरुक रहें। इसका प्रचार प्रसार करना जरूरी है ताकि लोग समझ सकें कि शराब कितनी बुरी चीज है। लोगों के हित में बिहार में शराबबंदी लागू की गयी है। बापू ने भी कहा था कि शराब बुरी चीज है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि विधान सभा और विधान परिषद् में सर्व सम्मति से शराबबंदी का प्रस्ताव पास किया गया। उस समय सरकार में जो थे और जो विपक्ष में थे, सभी ने शराबबंदी का समर्थन किया। शराबबंदी के खिलाफ बोलने वाले कुछ लोग भूल जाते हैं कि शराबबंदी लागू करने के वक्त मद्य निषेध विभाग के मंत्री किस पार्टी के थे। उन्होंने कहा कि बिहार में शराबबंदी का अध्ययन करने कई राज्यों के लोग आये हैं। कई राज्यों ने इसको लेकर मुझे अपने राज्यों में बुलाया भी था। केरल के लोग पिछले 22 साल से शराबबंदी के लिये अभियान चला रहे है। शराबबंदी लागू होने से पर्यटकों की संख्या घट जाती है, यह एक भ्रम है। बिहार में शराबबंदी लागू होने के बाद पर्यटकों की संख्या और बढ़ी है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि शराबबंदी कानून को मजबूती से लागू करने के लिये एक बार फिर से शपथ दिलायी जा रही है। शपथ लेने से मन फिर से मजबूत होगा। उन्होंने कहा कि बाएं-दाएं करने वालों पर सख्ती से कार्रवाई करें। सरकारी तंत्र में भी जो गड़बड़ करने वाले हैं उन पर भी नियमानुसार कड़ी कार्रवाई हो। उन्होंने कहा कि पटना शहर पर विशेष नजर रखें। पटना के कंट्रोल होने से पूरा बिहार कंट्रोल हो जायेगा। उन्होंने कहा कि शराब की सूचना मिलने पर पुलिस का छापेमारी करने जाना कोई गुनाह नहीं है। शादी समारोह हो या और कोई समारोह जब भी सूचना मिलेगी तो पुलिस जायेगी। नियमानुसार कार्रवाई हो, इसका ख्याल रखना जरूरी है। कुछ लोग ऐसे बयान दे रहे हैं कि बाहर से आने वालों को शराब पीने की छूट देनी चाहिये। ऐसे बयान देने वालों के मन में जरूर कोई गड़बड़ करने वाली बात है। पहले लोग कहते थे कि शराबबंदी लागू होने के बाद बिहार की आमदनी घट गयी है लेकिन ऐसी कोई बात नहीं है। पहले वर्ष 5000 करोड़ रूपये के राजस्व का घाटा हुआ था। उसके अगले वर्ष 1200 करोड़ रुपये के राजस्व का घाटा हुआ लेकिन अगले साल से शराबबंदी से कोई राजस्व की हानि नहीं होने लगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि शराबबंदी लागू होने के बाद बिहार में फल, सब्जी और दूध की खपत बढ़ गयी है। फल, सब्जी और दूध का उत्पादन भी बढ़ा है और बिक्री भी बढ़ी है। शराबबंदी के बाद शराब का सेवन नहीं करने के कारण बचे पैसे से लोग फल, सब्जी और दूध खरीद रहे हैं। शहरों में वातावरण बेहतर हुआ है। शराबबंदी के बाद एक महिला ने आप बीती सुनाते हुए कहा था कि शराबबंदी के पहले पति शराब पीकर रोज झगड़ा करते थे। घर में बच्चे एवं बच्चियां परेशान रहती थी, खाने के लिए पैसे नहीं रहते थे लेकिन शराबबंदी के बाद अब वे शाम में घर आते हैं तो बाजार से सब्जी लेकर आते हैं, मुस्कुराते हैं और अब देखने में भी अच्छे लगते हैं। उन्होंने कहा कि शराबबंदी से समाज में बदलाव आया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि शराबबंदी को पूरी मजबूती से लागू करना होगा। सभी जिलों के जिलाधिकारी, वरीय पुलिस अधीक्षक / पुलिस अधीक्षक, उत्पाद अधीक्षक और लोक अभियोजक के साथ 15 दिनों में एक बार शराबबंदी को लेकर जरुर समीक्षा बैठक करें। मुख्यालय स्तर पर वरीय अधिकारी हर दूसरे दिन बैठक कर पूरे राज्य के शराबबंदी की अद्यतन स्थिति की समीक्षा करें। उन्होंने कहा कि शराब की सूचना देने को लेकर केंद्रीय आसूचना केंद्र बनाया गया है। बिजली के खंभों पर नंबर अंकित किया गया है जिससे लोग आसानी से सूचना दे सकें। सूचना देने वालों का नाम गुप्त रखा जाता है। अधिकारियों ने बताया है कि अब काफी तादाद में लोग शिकायत कर रहे हैं। बीच में लोगों का भरोसा घट गया था, ले रहा था कि शिकायत करने पर भी उचित कार्रवाई नहीं की जा रही है लेकिन से हो रही है। उन्होंने कहा कि शराब पीना अच्छी बात नहीं है। शराब बुरी चीज शराब पियोगे तो मरोगे, इसे प्रचारित करने की जरूरत है। छात्र जीवन से ही हम खिलाफ रहे हैं। उस समय से ही मेरी इच्छा थी कि जब हमें काम करने का मौका मिलेगा तो शराबबंदी लागू करेंगे। बिहार में स्व० कर्पूरी ठाकुर जी ने शराबबंदी लागू किया था लेकिन बाद में उसे खत्म कर दिया गया। जब महिलाओं ने शराबबंदी की मांग की तो मेरा मन पाराबबंदी को लेकर दृढ़ हुआ और राज्य में पूर्ण शराबबंदी लागू की। शराबबंदी के प्रति हम सबों को जागृत रहना है और शराब के दुष्परिणामों के प्रति लोगों को जागरुक करते रहना है। शराबबंदी लोगों के हित में है। इससे राज्य और देश का भला होगा। बिहार में शराबबंदी के सफल होने से दूसरे राज्य भी इसे लागू करने को लेकर प्रेरित होंगे। वर्ष 2017 में 21 जनवरी को शराबबंदी को लेकर मानव श्रृंखला बनायी गयी थी। इसमें अन्य लोगों के साथ-साथ पत्रकारों ने भी शराबबंदी की शपथ ली थी। शराबबंदी को लेकर सभी लोगों ने अपना सहयोग और समर्थन दिया है। हमें भरोसा है कि आगे भी सभी लोग इस अभियान को अपना समर्थन देंगे। आज सभी लोगों ने शपथ ली है। मुख्य सचिव और डी0जी0पी0 सभी सरकारी तंत्र के लोगों की शपथ लेने की पुष्टि कर लें।
कार्यक्रम को उप मुख्यमंत्री श्री तारकिशोर प्रसाद, उप मुख्यमंत्री श्रीमती रेणु देवी, शिक्षा मंत्री श्री विजय कुमार चौधरी, मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन मंत्री श्री सुनील कुमार, मुख्य सचिव श्री त्रिपुरारी शरण, मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग के अपर मुख्य सचिव श्री के0के0 पाठक ने भी संबोधित किया।
कार्यक्रम में ग्रामीण विकास मंत्री श्री श्रवण कुमार, खाद्य एवं उपभोक्त संरक्षण मंत्री श्रीमती लेशी सिंह, अनुसूचित जाति एवं जनजाति कल्याण मंत्री श्री संतोष कुमार सुमन, लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण मंत्री श्री रामप्रीत पासवान, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव श्री दीपक कुमार, पुलिस महानिदेशक श्री एस0के0 सिंघल, विकास आयुक्त श्री आमिर सुबहानी, अपर मुख्य सचिव गृह श्री चैतन्य प्रसाद, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव श्री चंचल कुमार, मुख्यमंत्री के सचिव श्री अनुपम कुमार, विभिन्न विभागों के अपर मुख्य सचिव / प्रधान सचिव/सचिव, वरीय पुलिस अधिकारीगण, मुख्यमंत्री के विशेष कार्य पदाधिकारी श्री गोपाल सिंह सहित अन्य अधिकारीगण, जीविका की दीदियां, किलकारी के बच्चे उपस्थित थे जबकि अन्य जगहों से वेबकास्टिंग के माध्यम से अन्य जनप्रतिनिधिगण, पदाधिकारीगण तथा अन्य गणमान्य व्यक्ति जुड़े हुए थे।
नशा मुक्ति दिवस पर आयोजित कार्यक्रम के बाद पारिवारिक पार्टियों पर उठे सवाल पर पत्रकारों द्वारा पूछे गये प्रश्न का जवाब देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि पारिवारिक पार्टियां देश को नुकसान पहुंचा रही हैं ये बिल्कुल सही है। हमलोग तो शुरू ये मानकर चल रहे हैं कि पारिवारिक पार्टियों का कोई मतलब नहीं है। आजकल लोग खुद को, अपने परिवार को, बाल बच्चे को राजनीति में जगह देना चाहते हैं। राजनीति में परिवारवाद का कोई मतलब नहीं होना चहिये लेकिन आजकल कई दल इसी राह पर चल रहे हैं। कुछ दिनों के लिये भले ही परिवारवाद चल जाये लेकिन कुछ समय के बाद उनका सर्वाइवल संभव नहीं होगा।
फ्राइडे को दलाल स्ट्रीट पर तबाही देखने को मिली, दक्षिण अफ्रीका में एक नए और संभवतः वैक्सीन-प्रतिरोधी कोरोनावायरस संस्करण की पहचान के बाद सेंसेक्स 1,688 अंक की गिरावट के साथ 57,107 पर बंद हुआ, जबकि व्यापक निफ्टी 509 अंक की गिरावट के साथ 17,026 पर बंद हुआ।
सेंसेक्स चार्ट (26.11.21) एक नजर में
भारत अस्थिरता सूचकांक या VIX 24.84 प्रतिशत बढ़कर 20.8025 पर पहुंच गया। सेक्टरों में, फार्मा को छोड़कर अन्य सभी क्षेत्रीय सूचकांकों में 1-6 प्रतिशत की गिरावट आई। बीएसई मिडकैप इंडेक्स 829 अंक की गिरावट के साथ 24,846 पर बंद हुआ, जबकि एसएंडपी बीएसई स्मॉलकैप 751 अंक गिरकर 28,071 पर बंद हुआ।
डॉ रेड्डीज 3.32% ऊपर सेंसेक्स में शीर्ष पर रहा, नेस्ले इंडिया ने भी उसका अनुसरण किया, जबकि अन्य सभी स्टॉक लाल रंग में नीचे थे। इंडसइंड बैंक 6.01% की गिरावट के साथ शीर्ष स्थान पर रहा, इसके बाद मारुति सुजुकी इंडिया, टाटा स्टील और बजाज फाइनेंस का स्थान रहा।
सेंसेक्स के 30 शेयर्स में से 4 शेयर बढ़त के साथ और 26 शेयर कमजोरी के साथ बंद हुए।
नशा मुक्ति दिवस के मौके पर आज मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आजीवन शराब सहित किसी तरह के नशे का सेवन नहीं करने के लिए पूरे बिहार वासियों को शपथ दिलाया।
उन्होंने इस खास मौके पर जागरुकता रथों को रवाना किया, जो आम लोगों के नशे की बुराई के बारे में बताएंगे। सीएम ने कहा कि दूसरों को भी शराब के सेवन के लिए प्रेरित नहीं करना है।
शराब से जुड़ी गतिविधियों से अपने को अलग रखना है। राज्य सरकार के सभी कर्मचारी व अफसरों को अपने-अपने सरकारी कार्यालयों में इसकी शपथ लेने की हिदायत दी गई है।
सभी को इससे जुड़ा शपथ-पत्र भरकर उस पर हस्ताक्षर करना है, जिसकी प्रति डीएम के माध्यम से मुख्यालय तक पहुँचना है । इस मौके पर अधिकांश मंत्री और अधिकारी मौजूद है और मुख्यकार्यक्रम ज्ञाण भवन में आयोजित है
बिहार सरकार के मंत्री जनक राम (माइंस और जियोलॉजी डिपार्टमेंट) के OSD मृत्युंजय कुमार और धनंजय कुमार और रत्ना चटर्जी के ठिकानों पर SVU ने शुक्रवार सुबह रेड मारी।
दोनों पर सरकारी पद पर काम करते हुए भ्रष्टाचार करने का आरोप है । OSD मृत्युंजय कुमार समेत 3 लोगों के घर पर रेड पड़ी है।
आरोप है कि तीन ने मिलकर खूब काली कमाई की है। इनके काले कारनामों के बारे में स्पेशल विजिलेंस यूनिट (SVU) को कंप्लेन मिली थी। इसके बाद आरोपों की जांच की गई।
रिपोर्ट आने पर मामला सही पाया गया। इसके बाद टीम ने आज सुबह पटना, अररिया और कटिहार में नगद 15 लाख सहित करोड़ों रुपये की अवैध सम्पत्ति बरामद हो चुका है ।
पटना हाई कोर्ट ने बेगूसराय के एस पी पर 25 हज़ार रुपये का अर्थदंड लगाया है। जस्टिस पी बी बजन्थरी ने याचिकाकर्ता मोहम्मद एहतेशाम खान की रिट याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश को पारित किया।
दरअसल, सिपाही बहाली करने वाली केंद्रीय चयन परिषद को गुप्त सूचना मिली थी कि याचिकाकर्ता ने दूसरे व्यक्ति को परीक्षा में बिठाकर सिपाही की परीक्षा पास की है। इसके बाद मामले में प्राथमिकी दर्ज की गई। आरोप गठित हुआ।
कार्यवाही चली, लेकिन कार्यवाह की इन्क्वायरी रिपोर्ट की प्रति याचिकाकर्ता को नहीं दी गई थी। 18 अक्टूबर, 2021 को उक्त मामले पर सुनवाई के बाद कोर्ट ने बेगूसराय के पुलिस अधीक्षक को इन्क्वायरी रिपोर्ट और सेकंड शो – कॉज की प्रति विभागीय कार्यवाही में याचिकाकर्ता को मुहैया कराइ गई थी कि नही ,ये शपथ पर बताने को कहा था।
इसके बावजूद ये शपथ पर नही आ सकी। इसी को लेकर कोर्ट ने 25 हजार रुपये का अर्थदंड लगाया।
पटना हाईकोर्ट ने राज्य के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री सह विधायक तेज प्रताप यादव के निर्वाचन को चुनोती देने वाली चुनाव याचिका पर सुनवाई की।विजय कुमार यादव की चुनाव याचिका जस्टिस वीरेंद्र कुमार ने सुनवाई की।
तेज प्रताप यादव के हसनपुर विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र से निर्वाचन को विजय कुमार यादव ने चुनाव याचिका दायर कर चुनौती दी। आज याचिकाकर्ता की गवाही हुई।
तेजप्रताप यादव के अधिवक्ता जगन्नाथ सिंह ने याचिकाकर्ता से जिरह किया। उसके बाद कोर्ट ने याचिकाकर्ता को उन्मुक्त कर दिया।
इसके पूर्व दोनों पक्षों की ओर से अदालत में पक्षकारों के बीच, जिन विवादित बिंदुओं पर भी अदालत अपना निर्णय दे सकता है, उसे दाखिल किया गया था।
तेज प्रताप यादव के अधिवक्ता जगन्नाथ सिंह ने आगे बताया कि याचिकाकर्ता ने जनप्रतिनिधि एक्ट, 1951 का हवाला देते हुए तेज प्रताप यादव के निर्वाचन को अमान्य करार देने के लिए चुनाव याचिका दायर किया है।
मामला वर्ष 2020 में संपन्न हुए विधानसभा चुनाव से जुड़ा हुआ है। याचिका दायर करने का आधार श्री यादव द्वारा जानबूझकर अपनी संपत्ति के संबंध में नामांकन पत्र के साथ संपत्ति को लेकर हलफनामा में जानकारी छुपाना बताया गया है।
याचिकाकर्ता ने जनप्रतिनिधि क़ानून की धारा 123(2) के अनुसार इसे भ्रष्ट आचरण बताया है।
इस विधानसभा चुनाव के लिए नामांकन 16 अक्टूबर, 2020 को दाखिल किया गया था। 3 नवंबर, 2020 को विधानसभा चुनाव संपन्न हुआ था। 10 नवंबर, 2020 को चुनाव परिणाम घोषित किया गया था, जिसमें तेज प्रताप यादव हसनपुर विधानसभा चुनाव क्षेत्र से विजयी हुए थे। अब इस मामले में अगली सुनवाई 2 दिसंबर को होगी।
गुरुवार को मासिक एफएंडओ एक्सपायरी सत्र में सेंसेक्स और निफ्टी बढ़त के साथ बंद हुआ। सेंसेक्स 454 अंक बढ़कर 58,795 पर बंद हुआ, जबकि एनएसई निफ्टी 121 अंक बढ़कर 17,536 पर बंद हुआ।
सेंसेक्स चार्ट (25.11.21) एक नजर में
सूचकांकों में – तेल और गैस, रियल्टी, फार्मा सूचकांकों में से प्रत्येक में 1 प्रतिशत की वृद्धि हुई, हालांकि, ऑटो और बैंकिंग नामों में कुछ बिकवाली देखी गई। बीएसई मिडकैप इंडेक्स और स्मॉलकैप इंडेक्स 0.5-0.5 फीसदी चढ़े।
रिलायंस इंडस्ट्रीज सेंसेक्स में 6.1% की बढ़त के साथ शीर्ष पर रही, इसके बाद आईटीसी ,इंफोसिस और टेक महिंद्रा का स्थान रहा। इंडसइंड बैंक, मारुति सुजुकी और आईसीआईसीआई बैंक पिछड़ों में से थे।
सेंसेक्स के 30 शेयर्स में से 14 शेयर बढ़त के साथ और 16 शेयर कमजोरी के साथ बंद हुए।
सेंसेक्स के शेयर एक नजर में
निफ्टी ऑटो इंडेक्स 0.54% गिरा । बैंक निफ्टी 0.21% की गिरावट के साथ समाप्त हुआ । निफ्टी ऑयल एंड गैस 1.21 फीसदी चढ़ा।
निफ़्टी के प्रमुख इंडेक्स
निफ्टी इंडेक्स के 50 शेयरों में से 25 हरे निशान में बंद हुए, जबकि 25 लाल निशान में बंद हुए। निफ्टी के प्रमुख शेयरों के टॉप गेनर और लूजर का हाल ।
आठवें चरण में 36 जिलो के 55 प्रखंडों के 834 पंचायतों में हुआ मतदान ।
वोटिंग के लिये 7398 भवनों में 11527 बूथ बनाये थे ।
614 बूथ नक्सली प्रभावित थे ।
66 लाख 55 हजार 233 वोटर थे वोटर ।
वोटिंग के लिये तकरीबन 40 हजार पुलिस अधिकारी व जवानों की गई थी तैनाती ।
कुल मतदान 61.95 प्रतिशत
महिला 65.24 पुरुष 58.65।
शांतिपूर्ण रहा मतदान ।
रघुनाथ पुर में हवाई फायरिग की घटना हुई लेकिन बूथ के आसपास नही हुआ।
कुल 705 evm बदले गए ।
आज के चुनाव में क्या खास रहा
जमुई में नक्सली बंद बेअसर, मतदाताओं ने जमकर डाले वोट, जमुई के खैरा में हुई 70% वोटिंग, हर बूथ पर महिलाओं की भीड़, 8 किमी पैदल चल कर वोट देने पहुंची महिलाएं। पहली बार कई लड़कियों ने किया मतदान।
बिहार पंचायत, मुखिया चुनाव: बांका में एक लाख रुपये के साथ मुखिया प्रत्याशी गिरफ्तार, सिवान व बक्सर में फायरिंग
पटना हाईकोर्ट में बिहार नगरपालिका एक्ट,2007 के Chapter 5 की वैधता को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई दो सप्ताह के लिए टली।चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ के समक्ष डा. आशीष कुमार सिन्हा व अन्य द्वारा दायर याचिका पर एडवोकेट जनरल ने हलफनामा दायर करने के लिए दो सप्ताह का समय लिया।
याचिकाकर्ता की अधिवक्ता मयूरी ने बताया कि यह नगरपालिका संगठनात्मक संरचना से सम्बंधित कानून हैं।नगरपालिका के इस कानून में श्रेणी ए और बी पदों पर नियुक्ति का अधिकार राज्य सरकार करती हैं।जबकि श्रेणी सी और डी के पदों पर नियुक्ति पर नगरपालिका का बहुत सीमित अधिकार था।
लेकिन 31 मार्च,2021 को कानून में संशोधन कर श्रेणी सी और डी के पदों पर नियुक्ति के सीमित अधिकार को राज्य सरकार ने नगरपालिका से ले लिया है।
ये याचिकाकर्ता ने राज्य सरकार द्वारा इस कानून में किये गए संशोधन को पटना हाईकोर्ट में याचिका दायर किया। चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ ने 31 मार्च,2021 को कानून में संशोधन कर राज्य सरकार द्वारा मनमाने ढंग से नगरपालिका के शक्ति प्राप्त कमिटी के नियुक्ति सम्बन्धी अधिकार को लिए जाने को गम्भीरता से लिया।
याचिकाकर्ता के अधिवक्ता मयूरी ने कोर्ट को बताया कि कानून के तहत अन्य राज्यों में नगरपालिका के कर्माचारियों की नियुक्ति नगर निगम करती हैं।
उन्होंने कहा कि नगर निगम स्वायत्तशासी संस्था है।इसके लिए जरूरी है कि नित प्रति दिन के कार्य में सरकारी हस्तक्षेप नहीं हो और ये इकाई स्वायत्तशासी संस्था के रूप में कार्य कर सके।
कोर्ट को बताया गया कि नगर निगम के कर्मचारियों के वेतन और अन्य लाभों पर राज्य सरकार का नियंत्रण है,जबकि ये पैसा निगम के फंड से दिया जाता है ।
निगम के कर्मचारियों के cadre का केंद्रीयकृत होना नगरपालिका संस्थाओ के स्वायतता के मूल भावना के विरूद्ध है।इस मामले पर अगली सुनवाई 2 सप्ताह बाद होगी।
फ&ओ एक्सपायरी से एक दिन पहले आज बुधवार को निफ्टी 50 इंडेक्स 88.3 अंक नीचे 17415.05 पर बंद हुआ, जबकि बीएसई सेंसेक्स 323.34 अंक नीचे 58340.99 पर बंद हुआ। इंट्राडे में सेंसेक्स दिन के उच्चतम स्तर से 825 अंक तक गिर गया और निफ्टी 17,354 के निचले स्तर को छू गया।
सेंसेक्स चार्ट (24.11.21) एक नजर में
सेक्टरों में ऑटो, एफएमसीजी और आईटी इंडेक्स में 1-1 फीसदी की गिरावट आई, जबकि तेल & गैस और बैंकिंग नामों में खरीदारी देखी गई। बीएसई का मिडकैप इंडेक्स 0.5 फीसदी गिरा, जबकि स्मॉलकैप इंडेक्स 0.4 फीसदी चढ़ा।
कोटक महिंद्रा बैंक, एनटीपीसी और आईसीआईसीआई बैंक 1% से अधिक की बढ़त के साथ शीर्ष पर रहे। सेंसेक्स के सबसे खराब प्रदर्शन के रूप में मारुति सुजुकी इंडिया 2.62% नीचे थी, इसके बाद इंफोसिस, आईटीसी और रिलायंस इंडस्ट्रीज का स्थान रहा।
सेंसेक्स के 30 शेयर्स में से 8 शेयर बढ़त के साथ और 22 शेयर कमजोरी के साथ बंद हुए।
सेंसेक्स के शेयर एक नजर में
निफ्टी मिडकैप 100 इंडेक्स में 0.4 फीसदी की गिरावट के साथ मिड- और स्मॉल-कैप स्टॉक मिले-जुले रहे, जबकि निफ्टी स्मॉलकैप 100 इंडेक्स 0.63 फीसदी की बढ़त के साथ बंद हुआ।
निफ्टी आईटी इंडेक्स में 1.5 फीसदी की गिरावट। निफ्टी ऑटो, एफएमसीजी, फार्मा, हेल्थकेयर और कंज्यूमर ड्यूरेबल इंडेक्स भी 0.5-1.3 फीसदी के बीच गिरे।
निफ्टी बैंक, मीडिया, पीएसयू बैंक, प्राइवेट बैंक और ऑयल एंड गैस इंडेक्स बढ़त के साथ बंद हुए। निफ्टी फार्मा इंडेक्स 0.61% गिरा ।
निफ्टी इंडेक्स के 50 शेयरों में से 13 हरे निशान में बंद हुए, जबकि 36 लाल निशान में बंद हुए, 1 अपरिवर्तित रहा। निफ्टी के प्रमुख शेयरों के टॉप गेनर और लूजर का हाल ।
पटना हाईकोर्ट ने विनय कुमार सिंह की जनहित याचिका को सुनते हुए केंद्र सरकार व राज्य सरकार को लोमस और यज्ञबल्कय ऋषि के गुफाओं व पहाड़ियों का फोटो दो सप्ताह में कोर्ट में पेश करने का निर्देश दिया है। इस जनहित याचिका पर जस्टिस राजन गुप्ता की खंडपीठ ने सुनवाई की।
हाईकोर्ट में केंद्र सरकार ने माना कि इन पहाड़ियों का धार्मिक महत्त्व है और वहां पूजा अर्चना होती हैं।लेकिन ये पुरातत्व महत्व का स्थल नहीं है।
याचिका में ये कहा गया कि लोमस और याज्ञवल्कय ऋषि की गुफाएं केवल ऐतिहासिक दृष्टि से ही नही, बल्कि जैव विविधता के दृष्टि से भी बहुत महत्वपूर्ण है । ऐसे स्थानों को संरक्षित करने की बजाए समाप्त किया जा रहा है।इसके लिए केंद्र सरकार और राज्य सरकार ने संवेदनशीलता नहीं दिखाई हैं।
राज्य सरकार के खनन व पर्यावरण विभाग के अधिवक्ता नरेश दीक्षित ने कोर्ट को बताया कि ये गुफाएं व पहाड़ी पर्यटन स्थल या ऐतिहासिक महत्व की नहीं हैं।लेकिन राज्य सरकार इसे संरक्षित रखेंगी और इसे नष्ट नहीं होने देगी।
इन पहाड़ के जंगल व आस पास होने वाले खनन कार्य पर पटना हाईकोर्ट ने 20 जुलाई, 2021 को रोक लगा दी थी। यह रोक को अगली सुनवाई तक जारी रखने का कोर्ट ने निर्देश दिया था।
सुनवाई के दौरान कुछ लोगों ने हस्तक्षेप अर्जी के जरिये खनन कार्य पर से रोक हटाने का अनुरोध किया, जिसे हाई कोर्ट ने नामंजूर कर दिया ।
याचिकाकर्ता के वकील ने कोर्ट को बताया कि 1906 में प्रकाशित तत्कालीन गया जिले के गज़ट में दोनों पहाड़ियों का सिर्फ पुरातात्विक महत्त्व ही नही बताया गया हैं, बल्कि वहां की जैव विविधता के बारे में भी अंग्रजों ने लिखा है।
उन पहाड़ियों के 500 मीटर के दायरे में झरना , बरसाती नदी और एक फैला हुआ वन क्षेत्र है। उस जंगल को अवैध खनन कर बर्बाद किया जा रहा है।
लोमस और याज्ञवल्कय पहाड़ियों को आर्कियोलॉजिकल एवं हेरिटेज साइट बनाने का कोर्ट से आग्रह किया गया। कोर्ट ने दोनों पहाड़ियों के वन क्षेत्र विस्तार और रिहाइशी बस्तियों के बिंदु पर राज्य व केंद्र सरकार से जवाब मांगा था । इस मामले पर अगली सुनवाई दो सप्ताह बाद की जाएगी।