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बिहार के स्वास्थ्य विभाग का हाल बेहाल

आज हम आपको बिहार की स्वास्थ्य व्यवस्था से जुड़ी तीन तस्वीरें दिखा रहे हैं और उन तस्वीरों के सहारे कोरोना के तीसरी लहर से लड़ने को लेकर जो दावे किये जा रहे हैं उसकी सच्चाई से आप रुबरु हो सकते हैं ।

पहली तस्वीर राज्य में फैले वायरल बुखार से जुड़ी है खबर यह है कि शहर से लेकर गांव तक में बच्चे वायरल बुखार से पीड़ित है पीड़ित बच्चों में पांच से आठ प्रतिशत बच्चें ऐसे हैं जिनको अस्पताल की जरुरत है हाल यह है कि राज्य के सबसे बड़े अस्पताल पीएमसीएच,आईजीएमएस.एनएमसीएच और एम्स जहां कोरोना के तीसरी लहर को देखते हुए विशेष तौर पर पीकू व नीकू अस्पताल तैयार किया गया था वहां एक भी बेड खाली नहीं है ।

अस्पताल के बाहर गलियारे में इलाज के अभाव में बच्चा तरप रहा है ।वही कोरोना वाला हाल माँ के गंधे पर बीमार बच्चा और बाप के हाथ में आँक्सीजन का सिलेंडर ।बेड की जगह बाथरुम के गेट पर बच्चों को गोद में लिए मां हैरान परेशान मरीज के परिजनों को निहार रही है और अपने पति से बार बार कह रही है कुछ कीजिए ना बाबू बहुत रो रहा है ।

पति परेशान है अस्पताल में ना डां है ना बेड है और ना ही दवा है,करे तो करे क्या हर आने जाने वालों को टकटकी निगाह से देख रहा है कही किसी रास्ते से फरिस्ता की तरह कोई डाँ आये और उसके बच्चे को बचा ले ।ये हाल राज्य के सबसे बड़े अस्पताल पीएमसीएच का है जिला और अनुमंडल अस्पताल की तो बात ही छोड़ दे ।

दूसरी तस्वीर सिवान सदर अस्पताल की है जहां एक व्यक्ति की लाश 15 घंटे तक फर्श पर पड़ी रही और वार्ड में कुत्ते घूमते रहे, लेकिन किसी ने इसकी सुध नहीं ली।

तीसरी तस्वीर जीएमसीएच बेतिया की है जहां चोरों ने आईसीयू में घुसकर मरीज को लगा आक्सीजन मॉनिटर चुरा लिया। मरीज के परिजनों के टोकने पर चोर ने खुद को अस्पताल का कर्मचारी बताया। खराब होने व बदलने के नाम पर मॉनिटर चुराकर ले गया। जल्दबाजी में मॉनिटर खोलने के दौरान चोर ने ऑक्सीजन पाइप भी नोंच दिया थोड़ी देर बाद मरीज की स्थिति जब बिगड़ने लगी तो परिचन भागे भागे नर्स रुम में गयी वहां नर्स मौजूद नहीं थी हल्ला हंगामा शुरु हुआ तो कही से एक नर्स पहुंची और फिर किसी तरह आंक्सीजन का पाइप लगायी ये मेडिकल कांलेज का हाल है ।

इस मामले में राज्य के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडे का कहना है कि राज्य स्वास्थ्य समिति के टीम को अस्पताल का दौरा करने के लिए भेजा गया है उन्हें रिपोर्ट देने का निर्देश दिया गया है कई विशेषज्ञों से बातचीत में पता चला है कि वायरल फीवर है और सभी सरकारी अस्पतालों में बच्चों के समुचित इलाज का निर्देश दिया गया है पूरे मामले पर मैं खुद नजर रख रहा हूं और लगातार अधिकारियों के संपर्क में हूं

संभार–संतोष सिंह के वाल से

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